…..दुक्की पर दुक्की हो या सत्ते पे सत्ता, गौर से देखा जाए तो बस है पत्ते पे पत्ता
हाइलाइट्स
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सियासी बवंडर में फंसे कांग्रेस के नेता एक दूसरे की टांग खींचकर कलह के सागर में डूबने और डूबाने में लगे
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शनिवार को शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर और राजस्व मंत्री जगत नेगी अचानक कैबिनेट की मीटिंग छोड़ बाहर गए
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डिप्टी सी मुकेश अग्निहोत्री दौड़े- दौड़े बाहर गए और मंत्री रोहित ठाकुर को मनाकर वापस लाए
पोस्ट हिमाचल न्यूज एजेंसी
शिमला। दुक्की पर दुक्की हो या सत्ते पे सत्ता, गौर से देखा जाए तो बस है पत्ते पे पत्ता…. इन दिनों कांग्रेस पर यही सटीक बैठता है। सियासी बवंडर में फंसे कांग्रेस के नेता एक दूसरे की टांग खींचकर कलह के सागर में डूबने और डूबाने में लगे हैं। आज कैबिनेट की मीटिंग में भी यही देखने को मिला।
विधायकों ने तो कांग्रेस की लुटिया राज्यसभा में पहले ही डुबो दी है। अब मंत्रियों ने मोर्चा खोल दिया है। शनिवार को शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर और राजस्व मंत्री जगत नेगी अचानक कैबिनेट की मीटिंग छोड़कर बाहर निकल गए। डिप्टी सी मुकेश अग्निहोत्री दौड़े- दौड़े बाहर गए और मंत्री रोहित ठाकुर को मनाकर वापस लाए। उधर, सियासी घमासान के बीच सुक्खू सरकार धड़ाधड़ा नियुक्तियां कर रही है।
सरकार ने शनिवार को कांगड़ा जिला के फतेहपुर से विधायक भवानी सिंह पठानिया को डिप्टी चेयरमैन स्टेट प्लानिंग बोर्ड लगाया है। पठानिया को कैबिनेट रैंक दिया गया। देश के सबसे बड़े कांगड़ा जिले से सुक्खू सरकार में अब तक दो कैबिनेट मंत्री है। इससे कांगड़ा के लोग नाराज है। नाराजगी को दूर करने के लिए कांगड़ा को एक ओर कैबिनेट रैंक दिया गया है। पिछले कल ही मुख्यमंत्री ने होली लॉज गुट के रामपुर से विधायक नंदलाल को स्टेट फाइनेंस कमीशन का कैबिनेट रेंक के साथ चेयरमैन लगाया है।
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बोले बागी सरकार गिरेगी
हिमाचल के राज्यसभा चुनाव में बागी हुए कांग्रेस के विधायक राजेंद्र राणा ने दावा किया कि सुखविंदर सुक्खू की अगुआई वाली सरकार जल्द गिरेगी। कई कांग्रेसी उनके संपर्क में हैं। जिन्हें रोकने के लिए डरे सीएम ने उन पर 6-6 पुलिस वालों का पहरा लगा दिया है। सुक्खू की सरकार सिर्फ ‘मित्रों की सरकार’ बनकर रह गई है।
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सुक्खू बोले, 80 फीसदी कांग्रेस विधायक साथ
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने भाजपा के दावे पर कहा कि 80 फीसदी कांग्रेस विधायक साथ है और बाकी 20 फीसदी में भी कुछ लोग छोटी-छोटी बातों को लेकर हमसे नाराज हैं। चीजों को स्पष्ट करना मेरी जिम्मेदारी है, इसलिए मैंने उनसे चर्चा की है। क्रॉस वोटिंग से बीजेपी के हौंसले बुलंद हैं। लेकिन ऐसी स्थिति दोबारा पैदा नहीं होगी।
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बागी विधायकों से मिलकर दिल्ली पहुंचे मंत्री विक्रमादित्य
चंडीगढ़ में बागियों के साथ रहे और फिर दिल्ली रवाना हुए। हालांकि, शाम को मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने चर्चाओं पर विराम लगाते हुए कहा कि विक्रमादित्य उनसे बात करने के बाद ही चंडीगढ़ गए। वह नई दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से भी मिलेंगे। देखते हैं कि अब आगे क्या होता है।