मेरी चित्रकारी के शौक से परिजन नाखुश, जान दे रहा, किसी को दोषी न ठहराएं और फंदे पर लटक गया छात्र, मौत
हाइलाइट्स
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चंबा के भरमौर में दिल दहला देने वाली घटना
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पांगी का रहने वाला था किशोर, सुसाइड नोट बरामद
पोस्ट हिमाचल न्यूज एजेंसी
चंबा। बच्चों के शौक के आगे कभी बाधा न बनें। अपनी इच्छाओं को बच्चों पर थोपकर मानसिक दवाब न बनाएं। आपके लगते जिगर को जिस क्षेत्र में रूची है, मनोभाव को समझकर उसके हुनर को तराशें। न कि अपनी उम्मीदों के बोझ के तले उसकी इच्छाओं का गला घोंटे। नहीं तो इसके परिणाम पूरे परिवार के लिए कभी न भरने वाले जख्म दे सकते हैं।
चंबा के भरमौर में दसवीं कक्षा के छात्र ने इसलिए जान दे दी कि वह चित्रकार बनने की इच्छा रखता था और उसके मां बाप उसकी इस इच्छा के खिलाफ थे। चित्रकारी को छोड़हमेशा पढ़ने का दवाब वह महसूस करने लगा और उसने एक्लव्य स्कूल के हॉस्टल के बाथरूम की खिड़की की ग्रिल से फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। छात्र पांगी जिला चंबा का रहने वाला था। वह पांगी के मुख्यालय किलाड़ स्थित एकलव्य स्कूल में पढ़ता था और स्कूल के हॉस्टल में रहता था। मृतक की जेब से एक सुसाइड नोट पुलिस को बरामद हुआ है। इसमें उसने अपनी इच्छा के लिए परिजनों के नाखुश होने पर यह कदम उठाने और इसके लिए किसी अन्य को दोषी नहीं ठहराने की बात लिखी है। इसकी सूचना स्कूल प्रबंधन को तब मिली जब छात्र बुधवार सुबह सैर और व्यायाम करने किलाड़ हेलीपैड नहीं पहुंचा। इसके बाद पीटीआई और हॉस्टल वार्डन ने छात्र की तलाश शुरू की। उन्होंने हॉस्टल में जाकर देखा तो वे सन्न रह गए। हॉस्टल के बाथरूम में छात्र फंदे पर लटका था।घटना की सूचना मिलते ही पुलिस टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर सिविल अस्पताल किलाड़ पहुंचाया। जहां पर परिजनों और पुलिस की देखरेख में पोस्टमार्टम करवाकर शव परिजनों को सौंपा। पूरे परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। स्कूल स्टाफ सदमे में है। हो सकता है कि इस सुसाइड की कई और वजह हों, लेकिन यह बात जरूर है कि हमें अपने बच्चों पर ध्यान देने की काफी जरूरत है। उनकी सोच उनसे बातचीत करके ही जानी जा सकती है। जिसे समझ कर आप बच्चों के भविष्य और अपने जिंदगी की राह आसान कर सकते हैं।