नायब सूबेदार राकेश कुमार की शहादत पर हिमाचल में शोक, 23 वर्षों तक की सेना सेवा में किया अमूल्य योगदान
Nb Sub Rakesh Kumar Martyrdom : जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले में भारतीय सेना और आतंकियों के बीच हुई मुठभेड़ में हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले से संबंध रखने वाले नायब सूबेदार राकेश कुमार ने वीरगति प्राप्त की।
42 वर्षीय राकेश कुमार का जन्म 28 जनवरी 1982 को हुआ था। उन्होंने सेना में 23 वर्षों तक निष्ठा और साहस के साथ सेवा की। राकेश कुमार हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले के बरनोग गांव के निवासी थे, जो सुराहा पोस्ट ऑफिस, रत्ती पुलिस स्टेशन के अंतर्गत आता है और उनकी तहसील सदर है।
राकेश कुमार के परिवार में उनकी पत्नी भानु प्रिया, मां भाटी देवी, 14 वर्षीय बेटी यशस्वी और 9 वर्षीय बेटा प्रणव हैं। परिवार पर इस दुखद समाचार के आने से गहरा आघात पहुंचा है, और गांव में भी मातम का माहौल है। उन्होंने अपने पूरे जीवन को देश की सेवा में समर्पित कर दिया, और उनकी इस वीरता से हिमाचल प्रदेश ही नहीं, बल्कि पूरा देश गर्व महसूस कर रहा है।
इस शहादत के साथ राकेश कुमार ने वीरभूमि हिमाचल का मान बढ़ाया है। प्रदेश के लोग इस महान सपूत की वीरता को सलाम कर रहे हैं और उनकी याद में श्रद्धांजलि अर्पित कर रहे हैं। राकेश कुमार का बलिदान हमेशा हिमाचल और देश के लोगों के दिलों में जिंदा रहेगा, और उनका यह साहस भरा योगदान कभी भुलाया नहीं जाएगा।
किश्तवाड़ जिले के सुदूर जंगल में छिपे आतंकियों के साथ मुठभेड़ में सेना के नायब सूबेदार (जेसीओ) राकेश कुमार बलिदान हो गए, जबकि तीन अन्य जवान घायल हैं। सुरक्षाबलों ने पूरे इलाके की घेराबंदी कर रखी है। तीन से चार आतंकी घिरे हुए हैं। जैश-ए-मोहम्म्द के वही दहशतगर्द हैं जो शुक्रवार को दो ग्राम रक्षा गार्ड (वीडीजी) की हत्या में शामिल थे।