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आईजीएमसी की सरकारी लैब में नहीं हो रहे टेस्‍ट

हाइलाइट्स

  • एक सप्ताह से मशीन खराब, मरीज परेशान

  • प्रशासन ने मूंदी आंखे, निजी क्रस्ना लैब का सहारा

संवाद न्‍यूज एजेंसी


शिमला। आईजीएमसी की सरकारी लैब में मशीन बीते एक सप्ताह से खराब है। इस वजह से हजारों मरीज परेशान हैं।मरीजों को निजी क्रस्ना लैब में टेस्ट करवाना पड़ रहे हैं। आईजीएमसी के बायोकेमिस्ट्री विभाग में मशीन एक सप्ताह से खराब है। इस कारण लिवर, किडनी समेत रूटीन के कई टेस्ट नहीं हो पा रहे हैं। अस्पताल सूत्रों का कहना है कि मशीन खराब होने की सूचना आईजीएमसी प्रबंधन को भी है लेकिन उच्ब प्दों पर बैठे अधिकारियों ने विभाग से इस बारे में बैठक तक नहीं की है।

यही वजह है कि मशीन में सॉफ्टवेयर संबंधी समस्या जस की तस बनी हुई है। अस्पताल में ऐसी ही स्थिति बनी रही तो आने वाले दिनों में परेशानी और बढ़ सकती है। अस्पताल में रोजान 3500 से अधिक गरीबों की ओपीडी दोशी है। इसके अलावा 150 से अधिक मरीज आपात व्थिति में उपचार के लिए आते हैं। आईजीएमसी में जब तक मशीन ठीक थी तब तक सुबह साढ़े 9 बजे से लेकर दोपहर एक बजे तक सैंपल न्यू ओपीडी ब्लॉक में लिए जाते थे। दोपहर तीन बजे तक मरीजों को रिपोर्ट मिल जाती थी। लेकिन अब निजी लेब में भीड़ बढ़ गई है। इस वजह से रिपोर्ट देरी से मिल रही है।

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